डी. वी. पलुस्कर को सुनने वाले जो हिन्दी चिट्ठों पर पहुंचते हैं , अभी कम हैं । ऐसे में फिल्मी गीत सुनें :
हुई शाम उनका खयाल आ गया - मेरे हमदम मेरे दोस्त
रोज शाम आती थी - इम्तेहान
दिन ढल जाए - गाइड
वो शाम कुछ अजीब थी - ख़ामोशी
हुई शाम उनका खयाल आ गया - मेरे हमदम मेरे दोस्त
रोज शाम आती थी - इम्तेहान
दिन ढल जाए - गाइड
वो शाम कुछ अजीब थी - ख़ामोशी
बहुत प्यारे गीत हैं भई, बस मजा आ गया।
ReplyDeleteअफलातून जी,
ReplyDeleteआपके चिट्ठे पर डी वी पलुस्कर के संगीत की सभी प्रविष्टियाँ बुकमार्क कर रखी हैं, आगे और भी इंतज़ार रहेगा |
इम्तिहान फ़िल्म का ये गीत पहली बार सुना, बहुत आभार |
बहुत सुन्दर। सुनकर आनन्द आगया। आभार।
ReplyDeletea wonderful collection of songs and so apt too! what do i say?
ReplyDeleteshekhar s
बहुत सुन्दर!! आभार सुनवाने का.
ReplyDeletemay i add
ReplyDeletehttp://www.youtube.com/watch?v=YrfjG88MFMA